स्वर्ण जयंती आश्रय योजनाः-आवासहीनों का आसरा बनी आश्रित योजना

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IBEX NEWS, शिमला

प्रदेश सरकार द्वारा आरम्भ की गई विभिन्न आवास योजनाएं जनजातीय जिला किन्नौर के आवासहीन परिवारों के लिए वरदान साबित हो रही हैं। इसी कड़ी में स्वर्ण जयंती आश्रय योजना के तहत किन्नौर जिला के गरीब परिवारों का पक्के मकान बनाने का सपना पूर्ण हो रहा है।
जिले में स्वर्ण जयंती आश्रय योजना के तहत गत 4 वर्षों के दौरान 359 पात्र परिवार लाभान्वित हुए हैं। योजना के तहत अनुसूचित जनजाति, अनुसूचित जाति व अन्य पिछड़ा वर्ग के परिवार जिनके पास आवास नहीं है या वर्तमान .आवास की हालत जर्जर है और जिनकी वार्षिक आय 50 हजार रुपये से कम है को पक्का मकान बनाने के लिए 1 लाख 50 हजार रुपये तक की राशि प्रदान की जा रही है।


ऐसे ही गरीब परिवार से संबंधित जिले के पांगी गांव के लायक राम का कहना है कि उनका पुराना कच्चा घर पूरी तरह से जर्जर हो चुका था तथा बारिश व बर्फ के समय छत टपकती थी जिस कारण उन्हें सर्दी के मौसम में बहुत ही कठिनाई का सामना करना पड़ता था। ऐसे में उनके लिए स्वर्ण जयंती आश्रय योजना वरदान बनकर सामने आई। उन्होंने बताया कि ग्राम सभा में जब उन्होंने अपनी स्थिति के बारे में अवगत करवाया तो स्थानीय पंचायत प्रधान ने उन्हें योजना के बारे में जानकारी दी तथा तहसील कल्याण अधिकारी को आवास निर्माण के लिए आवेदन करने को कहा। उन्होंने प्रधान के कह अनुसार पक्का मकान उपलब्ध करवाने का मामला सामाजिक न्याय एवं आधिकारिता विभाग के जिला कार्यालय को भेजा तथा विभाग द्वारा पक्का मकान बनाने के लिए 1 लाख 50 हजार रुपये की राशि स्वीकृति प्रदान की गई।
उन्होंने कहा कि जैसे ही यह राशि स्वीकृत हुई उन्होंने मकान का कार्य आरंभ किया तथा आज उनके पास जहां पक्का मकान व रसोई है वहीं शौचालय भी है ।
इसी प्रकार पांगी गांव के गुरजीत सिंह व पवारी गांव के अमित कुमार का भी कहना है कि सचमुच में स्वर्ण जयंती आश्रय योजना ने उनके व उनके परिवार के सदस्यों के पक्के मकान का स्वप्न पूर्ण किया है। उन्होंने इन सबके लिए मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि योजना निर्धन व जरूरतमंद परिवारों के पक्के मकान के स्वप्न को पूरा करने में सहायक सिद्ध हो रही है जिससे उनका समाज में भी मान-सम्मान बढ़ा है।
उपायुक्त किन्नौर आबिद हुसैन सादिक ने बताया कि योजना के तहत जिले में गत 4 वर्षों में कुल 359 मामले स्वीकृत कर 5 करोड़ 07 लाख 40 हजार रुपये की राशि जारी की गई है।

वर्तमान में जिले में आवास से संबंधित कोई भी मामला लंबित नहीं है। उन्होंने कहा कि योजना के तहत अनुसूचित जाति वर्ग के 87 परिवारों तथा अनुसूचित जनजाति वर्ग के 272 परिवारों के आवास स्वीकृत किए गए हैं।

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