मनजीत नेगी/IBEX NEWS,शिमला
हिमाचल प्रदेश की हरी भरी वादियां तरोताजा और ठंडी रहें इसके लिए देवभूमि के बच्चे तो बच्चे बुजुर्ग कोई कोर कसर नहीं छोड़ना चाहते है। यह पहली मर्तबा देखने को मिला है कि देवभूमि के लोगों को पर्यावरण स्वच्छता का पाठ अनूठे तरीके से पढ़ाने की कोशिश की गई है।
राज्य की राजधानी शिमला से जिला मंडी के जंझेहली तक पौने दो सौ किलोमीटर की यात्रा साइकिल पर करते हुए पर्यावरण को बचाने का मंत्र फूंका गया है।हिमालयन ऐडवेंचर स्पोर्ट्स एंड टूरिज्म एसोसिएशन द्वारा इस साइकलिंग रैली का आयोजन किया गया ।
इस रैली में 2750 मीटर की ऊंचाई पर पूरे देश से पहुंचे 60 बाइकर्स ने अपना जौहर दिखाते हुए पहाड़ों को साफ रखने का संदेश दिया है। शिमला के ठंडे 15 से 20डिग्री तापमान से मंडी के 40डिग्री तक के विभिन्न तापमान के बीच साइकिल सवारों ने हौसला बनाए रखा।
हिमाचल प्रदेश में पर्यटक बड़ी संख्या में पहुंच रहे है और जाने अंजाने में प्लास्टिक कचरा चिप्स,कुरकुरे,टॉफी,बिस्किट्स रेपर्स पर्यटन स्थलों, शक्तिपीठों के परिसर पर ही छोड़ जाते है।
स्थानीय लोगों के भी इस संबंध में हाथ खड़े रहते है की घूमने पहुंचे लोगो पर नजर कैसे रखें और स्वयं भी पहाड़ों को साफ रखने की अच्छी आदतें कैसे कायम रखें।
हिमाचल में पहाड़ों पर प्लास्टिक कचरा न फैलाने और सफाई बनाए रखने के लिए निकाली गई ये जागरुकता रैली बड़ी अहम मानी जा रही है।
ये खास इसलिए भी रही इसमें 60साल के बुजुर्ग ने हिस्सा लिया। वहीं 10वर्ष के कौस्तव ने पहाड़ी रास्तों पर से साइकिल चलाई और उससे तीन साल बड़ी बहन सम्भवी ने अपनी प्रतिभा का लोहा मानते हुए जोरदार संदेश दिया की पहाड़ों को बचाना जरूरी है। अन्य छोटी उम्र की बेटियां भी इस रैली में शामिल रही।
ऐसी ही दो बेटियों की मां डॉक्टर किमी सूद इस रैली में साथ रही कि पहली मर्तबा बेटियां संकरे पहाड़ों की टेडी मेड़ी सड़कों पर अच्छे संदेश के लिए निकली है। उनकी हौसला अफजाई के लिए साथ रही तो ये अनूठी रैली देखकर उन्हें अच्छा लगा। लोगो में उत्साह दिखा है।
इन बच्चों में नई उड़ान भरने का श्रेय एसोसिएशन के अध्यक्ष मोहित सूद को जाता है। बच्चों को साइकिल चलाने का हुनर,ऊंचे नीचे पहाड़ी ढलानों पर अच्छी पकड़ बनाए रखने की कला का जज्बा वे सलीके से सीखा रहे है। तभी छोटे बच्चों ने पहाड़ी रास्तों पर लंबी उड़ान भरी। इससे पहले हिमाचल में छोटे बच्चों के लिए ऐसे आयोजन नहीं हो पाए है और साइकिल चलाने का प्रचलन बच्चों में भरी भीड़भाड़ पहाड़ी सड़कों पर नाममात्र रहा है।
इस रैली का जिक्र हिमालय में रहने वाले लोगो के बीच ही नहीं अपितु इन दिनों पूरे देश में हो रहा है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस बीते रविवार को मन की बात उनके पसंदीदा कार्यक्रम में भी इस रैली का जिक्र कर हौसला अफजाई की।कहा की ये बेहद शानदार तरीका है कि इस तरह से वनों की रक्षा के लिए समाज की भागीदारी से प्रयास हो रहे है।