डिनर से ब्रेकफास्ट के बीच MLAs के बदले तेवरों को भाँप नहीं पाए प्रदेश के दिग्गज नेता।विधायक दल की मीटिंग में मुख्यमंत्री के साथ डिनर किया। मंगलवार को वोटिंग से पहले विधायकों के साथ ब्रेकफास्ट किया। मगर मुख्यमंत्री सुक्खू स्थिति को नहीं भांप सके, जबकि इसकी स्क्रिप्ट उसी दिन लिख दी गई थी जब BJP ने वीरभद्र के करीबी हर्ष को उम्मीदवार बनाया
IBEX NEWS,शिमला।
हिमाचल प्रदेश में कांग्रेस के 6 और 3 निर्दलीय विधायकों ने भाजपा के हक में क्रॉस वोटिंग को लेकर कांग्रेस हाईकमान एक्टिव हो गई है। हरियाणा के पूर्व सीएम भूपेंद्र हुड्डा और कर्नाटक के डिप्टी सीएम डीके शिवकुमार को संकट सुलझाने की जिम्मेदारी दी गई है। दोनों नेता आज शिमला पहुंच सकते हैं। बागी विधायक चाहते हैं कि सीएम को बदला जाए।हिमाचल प्रदेश में बहुमत के बावजूद कांग्रेस के साथ खेला हो गया। 9 विधायकों की क्रॉस वोटिंग से CM सुखविंदर सुक्खू की अगुआई वाली कांग्रेस सरकार खतरे में आ गई है
सोमवार रात को कांग्रेस के सभी MLA ने विधायक दल मीटिंग में मुख्यमंत्री के साथ डिनर किया। मंगलवार को वोटिंग से पहले विधायकों के साथ ब्रेकफास्ट किया। मगर मुख्यमंत्री सुक्खू स्थिति को नहीं भांप सके, जबकि इसकी स्क्रिप्ट उसी दिन लिख दी गई थी जब BJP ने वीरभद्र के करीबी हर्ष को उम्मीदवार बनाया। मगर सुक्खू आखिरी वक्त तक विधायकों की नाराजगी को नहीं भांप सके और सीएम सुक्खू देर शाम तक जीत का दावा करते रहे। नतीजा यह है कि आज सरकार खतरे में आ गई।कांग्रेस विधायकों के क्रॉस वोट ने 14 महीने पहले बनी सुक्खू सरकार की टेंशन बढ़ा दी है। हर्ष महाजन की जीत से भारतीय जनता पार्टी के हौसले बुलंद हो गए हैं। अब जगत प्रकाश नड्डा की जगह हर्ष महाजन राज्यसभा जाएंगे।
राजीनीति के धुरन्धरों की मानें तो बेशक कांग्रेस विधायकों ने राज्यसभा चुनाव में एंटी वोट किया है, लेकिन बजट पारित करने में वह एंटी वोट नहीं कर सकेंगे, क्योंकि मुख्य सचेतक ने पहले ही व्हिप जारी कर रखा है। इसकी अवहेलना पर पार्टी विधायकों के खिलाफ कार्रवाई कर सकती है।
नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर दावा कर रहें हैं कि कांग्रेस सरकार बहुमत खो चुकी है। इसको लेकर BJP आज गवर्नर शिव प्रताप शुक्ल से मिलेगी। भाजपा नेता हाउस में फ्लोर टेस्ट, कट मोशन और फाइनेंशियल बिल पर वोट डिवीजन की मांग करेंगे।विपक्ष की मांग पर गवर्नर ने बहुमत साबित करने को बोला तो यहां सुक्खू सरकार फंस सकती है, क्योंकि कांग्रेस के पास अब बहुमत नजर नहीं आ रहा। राज्यसभा सांसद की वोटिंग के हिसाब से कांग्रेस के पास 34 वोट हैं। इनमें भी स्पीकर और डिप्टी स्पीकर वोटिंग नहीं कर सकते। इस लिहाज से कांग्रेस के पास 32 ही वोट बचते हैं।कांग्रेस के लिए थोड़ी राहत की बात यह है कि एंटी डिफेक्शन लॉ पार्टी विधायकों को सरकार के खिलाफ वोट डालने की अनुमति नहीं देता।