आरोपी देशराज की ये इमोशनल दलीलें भी काम न आई कि “वह अपने परिवार का एकमात्र रोटी कमाने वाला है “वह एक सम्मानित परिवार से है, समाज में गहरी जड़ें हैं ।

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चीफ इंजीनियर मामले में आरोपी HPPCL से निलंबित देशराज की तमाम उपरोक्त दलीलें हाईकोर्ट ने ठुकराते हुए जमानत खारिज करते हुए कहा कि एकत्र किए गए साक्ष्यों को ध्यान में रखते हुए आवेदक यह साबित करने में सक्षम नहीं है कि उसे इस मामले में झूठा आरोपी बनाया है, विशेषकर तब, जब उसका नाम शिकायत में विशेष रूप से उल्लेखित है तथा पुष्टि आवेदक के निजी सहायक के बयान से हुई है।

IBEX NEWS,शिमला

HPPCL के चीफ इंजीनियर विमल नेगी मामले में आरोपी देशराज की ये इमोशनल दलीलें काम न आई कि “वह अपने परिवार का एकमात्र रोटी कमाने वाला है “वह एक सम्मानित परिवार से है, समाज में गहरी जड़ें हैं। हिमाचल हाईकोर्ट ने पावर कॉरपोरेशन के चीफ इंजीनियर विमल नेगी की मौत मामले में सस्पेंड डायरेक्टर देशराज की अग्रिम जमानत याचिका को खारिज कर दिया है। हाईकोर्ट ने बुधवार को यह फैसला सुनाया है। न्यायाधीश वीरेंद्र सिंह की अदालत ने 24 मार्च को दोनों पक्ष सुनने के बाद इस केस में जजमेंट को रिजर्व रख दिया था और बुधवार को निर्णय सुनाया है कि आवेदक के विरुद्ध लगाए गए आरोपों की गंभीरता तथा जांच एजेंसी द्वारा अब तक एकत्र किए गए साक्ष्यों को ध्यान में रखते हुए, यह न्यायालय इस निष्कर्ष पर पहुंचा है कि आवेदक यह साबित करने में सक्षम नहीं है कि उसे इस मामले में झूठा आरोपी बनाया गया है, विशेषकर तब, जब उसका नाम शिकायत में विशेष रूप से उल्लेखित किया गया है तथा शिकायतकर्ता द्वारा विशेष आरोप लगाए गए हैं, जिनकी पुष्टि आवेदक के निजी सहायक के बयान से हुई है। उपरोक्त चर्चा का संचयी प्रभाव यह है कि इस स्तर पर आवेदक के पक्ष में बीएनएसएस की धारा 482 के तहत राहत प्रदान करने का कोई मामला नहीं बनता है। इसलिए जमानत आवेदन खारिज किया जाता है। हाई कोर्ट ने निर्देश दिए हैं कि ऊपर की गई किसी भी टिप्पणी को मामले के गुण-दोष के आधार पर राय की अभिव्यक्ति के रूप में नहीं लिया जाएगा, क्योंकि ये टिप्पणियां केवल वर्तमान जमानत आवेदन के निपटारे तक ही सीमित हैं।

आवेदक देश राज ने ये कहते हुए अग्रिम जमानत की अर्जी लगाई थी कि भारतीय न्याय संहिता (जिसे आगे बीएनएस कहा जाएगा) की धारा 108 और 3 (5) के तहत पुलिस स्टेशन न्यू शिमला, जिला शिमला, हिमाचल प्रदेश में पंजीकृत एफआईआर संख्या 9/2025, दिनांक 19 मार्च, 2025 के मामले में अपनी गिरफ्तारी की आशंका है। न्यायालय से अनुरोध किया था कि वह पुलिस स्टेशन न्यू शिमला, जिला शिमला के जांच अधिकारी/पुलिस को उपरोक्त मामले/एफआईआर में उसकी गिरफ्तारी की स्थिति में उसे जमानत पर रिहा करने का निर्देश दे। एफआईआर स्वर्गीय विमल नेगी की पत्नी के कहने पर दर्ज की गई है, जिनका शव भाखड़ा बांध में मिला था।


देशराज ने हाईकोर्ट में जमानत के लिए दायर याचिका में कहा कि वह निर्दोष है और उसे इस मामले में झूठा फंसाया गया है, क्योंकि कथित अपराध से उसे जोड़ने वाला कोई प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष सबूत नहीं है। इस तथ्य पर जोर देते हुए कि वह शिमला का स्थायी निवासी है और एचपी पावर कॉर्पोरेशन लिमिटेड में निदेशक (विद्युत) के रूप में काम कर रहा है, आवेदक द्वारा प्रदर्शित किया गया है कि वह एक सम्मानित परिवार से है, जिसकी समाज में गहरी जड़ें हैं। आगे दलील दी कि वह अपने परिवार का एकमात्र रोटी कमाने वाला है और उक्त मामले में उसकी गिरफ्तारी की आशंका है। निपुण अनेजा एवं अन्य बनाम उत्तर प्रदेश राज्य, 2024 एससीसी ऑनलाइन एससी 4091 में रिपोर्ट किए गए मामले; तथा लक्ष्मी दास बनाम पश्चिम बंगाल राज्य एवं अन्य, तटस्थ उद्धरण संख्या 2025 आईएनएससी 86, में माननीय सर्वोच्च न्यायालय के निर्णयों पर भी भरोसा किया , यह तर्क देने के लिए कि धारा 306 आईपीसी के प्रावधानबीएनएस की धारा 108) इस मामले में लागू नहीं होती, क्योंकि उक्त धारा के आवश्यक तत्व गायब हैं। शिकायतकर्ता द्वारा की गई शिकायत की विषय-वस्तु के अनुसार उसने पहले ही सूचित किया था कि उसके पति को पिछले छह महीनों से विद्युत निगम के वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा मानसिक रूप से प्रताड़ित किया जा रहा था तथा उनके साथ दुर्व्यवहार किया जा रहा था। उसने विशेष रूप से आवेदक देश राज तथा विद्युत निगम के प्रबंध निदेशक का नाम लिया है, जिन्होंने उसके पति को प्रताड़ित किया तथा उनके साथ दुर्व्यवहार किया। शिकायतकर्ता के कथन के अनुसार उपरोक्त अधिकारियों ने जानबूझकर उसके पति को देर रात तक काम करने के लिए मजबूर किया तथा बीमारी की स्थिति में भी उपचार के लिए छुट्टी स्वीकृत नहीं की। इतना ही नहीं, उक्त अधिकारियों ने उसके पति को प्रशासनिक कार्यवाही करने की बार-बार धमकी दी। परिणामस्वरूप उसके पति ने अपनी जीवन लीला समाप्त करने जैसा कदम उठाया। इसलिए शिकायतकर्ता ने प्रार्थना की थी कि उपरोक्त नामित व्यक्तियों के विरुद्ध कार्यवाही की जाए। उपरोक्त तथ्यों के आधार पर पुलिस ने मामले में एफआईआर दर्ज की। 11. 22 मार्च, 2025 को दर्ज की गई स्थिति रिपोर्ट के अनुसार, गाह धनीपाखर के पास सतलुज नदी से विमल नेगी का शव बरामद होने के बाद, उसी दिन से मामले की जांच शुरू कर दी गई थी।रिपोर्ट पर विचार किया जा रहा है।

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