मुख्यमंत्री ने मंडी जिला के धर्मपुर में आयोजित 54वें पूर्ण राज्यत्व दिवस समारोह की अध्यक्षता की।

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इस वर्ष मार्च के अंत तक आरम्भ किए जाएंगे 6 ग्रीन कॉरिडोर: मुख्यमंत्री
धर्मपुर के 200 महिला मंडलों को 20-20 हजार रुपये देने की घोषणा की
धर्मपुर में डीएसपी कार्यालय और धर्मपुर व संधोल में नगर पंचायतें होंगी स्थापित

IBEX NEWS,शिमला।

मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने मंडी जिले के धर्मपुर में आयोजित 54वें पूर्ण राज्यत्व दिवस समारोह के अवसर पर प्रदेशवासियों को शुभकामनाएं दीं। उन्होंने हिमाचल को पूर्ण राज्यत्व का दर्जा प्रदान करने के लिए पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी और इस दिशा में सार्थक प्रयास करने के लिए प्रदेश के प्रथम मुख्यमंत्री डॉ. यशवन्त सिंह परमार के बहुमूल्य योगदान को याद किया। मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर राष्ट्रीय ध्वज फहराया और परेड कमांडर आईपीएस (परिवीक्षाधीन) गौरवजीत सिंह के नेतृत्व में पुलिस, गृहरक्षक, ट्रैफिक पुलिस, एनसीसी और एनएसएस कैडेट, स्काउट्स और गाइड, पूर्व सैनिक और पुलिस बैंड द्वारा प्रस्तुत भव्य मार्चपास्ट की सलामी ली।


मुख्यमंत्री ने कहा कि मंडी जिले के धर्मपुर उपमंडल में पहली बार पूर्ण राज्यत्व दिवस समारोह आयोजित किया जा रहा है। इस उपलक्ष्य में उन्होंने धर्मपुर क्षेत्र के 200 महिला मंडलों को 20-20 हजार रुपये देने की घोषणा की। उन्होंने धर्मपुर में डीएसपी कार्यालय, धर्मपुर और संधोल में नगर पंचायत, संधोल वाया मढ़ी धर्मपुर सड़क और संधोल वाया स्योह धर्मपुर सड़क के लिए 10-10 करोड़ रुपये प्रदान करने की घोषणा भी की। उन्होंने बाबा कमलाहिया मंदिर के सौंदर्यीकरण के लिए 3 करोड़ रुपये, टीहरा के सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र भवन के लिए 1.50 करोड़ रुपये, संधोल और धर्मपुर में संयुक्त कार्यालय भवन के लिए क्रमशः 1.50 करोड़ रुपये और 1 करोड़ रुपये देने की घोषणा की। इसके अतिरिक्त राजकीय महाविद्यालय धर्मपुर में बहुउद्देशीय हॉल के निर्माण के लिए 1.50 करोड़ रुपये और नागरिक अस्पताल धर्मपुर और संधोल के लिए 50-50 लाख रुपये प्रदान करने की भी घोषणा की। उन्होंने राजकीय महाविद्यालय सरकाघाट में एक बास्केटबॉल खेल छात्रावास (छात्रा), क्षेत्र में विभिन्न खड्डों के तटीयकरण के लिए 24.80 करोड़ रुपये, राजकीय महाविद्यालय सरकाघाट में जूलॉजी में स्नातकोत्तर कक्षाएं और राजकीय महाविद्यालय धर्मपुर में अंग्रेजी, अर्थशास्त्र तथा हिंदी में स्नातकोत्तर कक्षाएं आरम्भ करने की घोषणा भी की।


जनसभा को सम्बोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने हिमाचल को अन्य सभी पहाड़ी राज्यों में शीर्ष श्रेणी पर पहुंचाने में योगदान के लिए सभी महान विभूतियों के प्रति अपनी कृतज्ञता व्यक्त की। उन्होंने प्रदेश की उन्नति में विशेष योगदान के लिए यहां के परिश्रमी लोगों के योगदान को रेखांकित करते हुए कहा कि उनके यह समर्पित प्रयास ही प्रदेश को प्रगति पथ पर आगे ले जाने में हमें ऊर्जा प्रदान करते हैं। इस अवसर पर प्रदेशवासियों की प्र्रतिबद्धता के प्रति कृतज्ञता व्यक्त करते हुए उन्होंने कहा कि हिमाचल की उन्नति व प्रगति प्रदेश नेतृत्व के साथ ही यहां के लोगों की इसी अथक मेहनत की विकास गाथा है।


ठाकुर सुखविदंर सिंह सुक्खू ने कहा कि प्रदेश सरकार जन सेवा के लिए समर्पित है और समाज के सभी वर्गांे के कल्याण एवं इन तक विकास कार्यों एवं योजनाओं का लाभ सुनिश्चित कर रही है। उन्होंने कहा कि इस वर्ष मार्च के अंत तक प्रदेश में 6 ग्रीन कॉरिडोर स्थापित करने का लक्ष्य रखा गया है, जिससे पर्यटक और स्थानीय लोगों को नियमित अन्तराल पर ई-वाहनों की चार्जिंग के लिए ई-चार्जिंग स्टेशनों की सुविधा सुनिश्चित हो सकेगी। उन्होंने कहा कि फरवरी में 13 ई-चार्जिंग स्टेशन शुरू कर दिए जाएंगे और आगामी दो माह के भीतर चिन्हित पेट्रोल पंपों पर कुल 108 चार्जिंग स्टेशन स्थापित करने की योजना है। उन्होंने कहा कि कीरतपुर से केलांग ग्रीन कॉरिडोर में पहले से ही 5 ई-चार्जिंग स्टेशन शुरू कर दिए गए हैं और शिमला से बिलासपुर तक इसी प्रकार के 3 स्टेशन स्थापित किए गए हैं।


मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में ई-वाहनों को बड़े पैमाने पर बढ़ावा दिया जा रहा है और राज्य सरकार ने 1 जनवरी, 2024 से सभी सरकारी विभागों में पेट्रोल और डीजल वाहनों की खरीद पर रोक लगाई है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने जनता से जुड़ने व सार्थक संवाद स्थापित करने के लिए ‘सरकार गांव के द्वार’ कार्यक्रम आरम्भ किया है, जिसमें लोगों की शिकायतों का समाधान किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में नई पहल करते हुए 30 अक्तूबर, 2023 से उप-तहसील और तहसील स्तर पर ‘राजस्व लोक अदालतें’ आयोजित की जा रही हैं। इन अदालतों के माध्यम से अभी तक 65 हजार से अधिक इन्तकाल और 4071 तकसीम के मामलों का निपटारा किया जा चुका है, जिससे अरसे से लम्बित मामलों का निपटारा होने से लोगों को राहत मिली है।
उन्होंने कहा कि हिमाचल अनाथ बच्चों की देखभाल के लिए कानून बनाने वाला भारत का पहला राज्य बना है और प्रदेश में 4,000 अनाथ बच्चों को ‘चिल्ड्रन ऑफ द स्टेट’ के रूप में अपनाया गया है। इसके अतिरिक्त, राज्य में 680 करोड़ रुपये की ‘राजीव गांधी स्वरोजगार स्टार्ट-अप योजना’ आरम्भ की गई है। इस योजना के पहले चरण में ई-टैक्सी की खरीद पर 50 प्रतिशत सब्सिडी जबकि दूसरे चरण में 10 प्रतिशत धरोहर राशि जमा करवाने पर सौर ऊर्जा परियोजनाओं के लिए 70 प्रतिशत बैंक ऋण सुविधा तथा 30 प्रतिशत सरकार की ओर से इक्विटी का प्रावधान किया गया है। इन परियोजनाओं से उत्पन्न बिजली की खरीद अगले 25 वर्षों तक सरकार द्वारा करने का भी निर्णय लिया गया है, जिससे युवाओं को आय का एक निश्चित स्रोत सुनिश्चित होगा। इसके अलावा, विभिन्न सरकारी विभागों में 21,000 से अधिक पदों पर भर्ती की जा रही है, जिसमें शिक्षकों के 5291 पद, पुलिस आरक्षी के 1226 पद, वन मित्र के 2061 और जल शक्ति विभाग में 10 हजार पद विभिन्न श्रेणियों के शामिल हैं।
ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि राज्य में पहली बार सेब उत्पादकों से किलो की दर से सेब खरीदा गया है और इस वर्ष बेहतर दाम सुनिश्चित करने के दृष्टिगत सेब खरीद के लिए यूनिवर्सल कार्टन का प्रावधान किया जाएगा। उन्होंने कहा कि सेब, आम और नींबू फलों के समर्थन मूल्य में भी ऐतिहासिक वृद्धि की गई है।
मुख्यमंत्री ने मंडी जिले पर विशेष ध्यान केन्द्रित करते हुए समान और तीव्र विकास हासिल करने की राज्य सरकार की प्रतिबद्धता पर बल दिया। उन्होंने कहा कि पुरानी पेंशन योजना बहाल करने से प्रदेश के 1.36 लाख सरकारी कर्मचारियों को लाभ हुआ है और मंडी जिला में भी 1150 एनपीएस कर्मचारियों को अब पुरानी पेंशन का लाभ मिलने लगा है। उन्होंने कहा कि गत वर्ष की आपदा से उत्पन्न चुनौतियों से पार पाते हुए सरकार ने प्रभावितों के लिए 4500 करोड़ रुपये का विशेष राहत पैकेज जारी कर मुआवजा कई गुणा बढ़ाया है। उन्होंने कहा कि धर्मपुर उपमंडल में भी आपदा प्रभावित परिवारों को 6.14 करोड़ रुपये की वित्तीय सहायता प्रदान की गई है।
उन्होंने कहा कि गुणात्मक शिक्षा प्रदान करने के अपने चुनावी वायदे को पूरा करते हुए राज्य सरकार नए शैक्षणिक सत्र से सभी सरकारी स्कूलों में पहली कक्षा से अंग्रेजी माध्यम में शिक्षा आरम्भ करने जा रही है। इसके अतिरिक्त, ‘डॉ. यशवंत सिंह परमार विद्यार्थी ऋण योजना’ के तहत व्यावसायिक और तकनीकी पाठ्यक्रमों के लिए एक प्रतिशत ब्याज दर पर 20 लाख रुपये तक का ऋण प्रदान किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र में राजीव गांधी डे-बोर्डिंग स्कूल स्थापित किए जा रहे हैं। प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र में एक-एक स्वास्थ्य संस्थान को ‘आदर्श स्वास्थ्य संस्थान’ के रूप में स्तरोन्नत किया जा रहा है और अभी तक 50 निर्वाचन क्षेत्रों में ऐसे स्वास्थ्य संस्थान स्थापित कर इनमें 6 विशेषज्ञ डॉक्टर तैनात किए जा चुके हैं।
ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने महिला सशक्तिकरण के लिए राज्य सरकार की प्रतिबद्धता पर बल देते हुए कहा कि विधवा पुनर्विवाह योजना के तहत वित्तीय सहायता 65,000 रुपये से बढ़ाकर 2 लाख रुपये की गई है। इसके अतिरिक्त, पात्र विधवाओं और एकल महिलाओं को घर बनाने के लिए 1.50 लाख रुपये की वित्तीय सहायता प्रदान करने की योजना भी शुरू की जा रही है। उन्होंने कहा कि बेटियों को समान उत्तराधिकार का अधिकार देने के लिए लैंड सीलिंग एक्ट में संशोधन किया गया है। लड़कियों की विवाह योग्य आयु 18 से बढ़ाकर 21 वर्ष की जा रही है और प्रदेश में सामाजिक सुरक्षा पेंशन के 41,799 नये मामले स्वीकृत किये गये हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हिमाचली हितों को ध्यान में रखते हुए सरकारी भूमि की लीज अवधि 99 से घटाकर 40 वर्ष की गई है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार राजस्व बढ़ाने के लिए प्रतिबद्ध है और नई आबकारी नीति लागू होने से पिछले वर्ष की तुलना में 846 करोड़ रुपये का अतिरिक्त राजस्व प्राप्त हुआ है। लोक निर्माण विभाग की परियोजनाओं में तेजी लाने के लिए निविदा अवधि 51 दिन से घटाकर 20 दिन कर दी गई है।
उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने 500 करोड़ रुपये की हिम गंगा योजना शुरू की है, जिसका उद्देश्य दुग्ध उत्पादकों को बेहतर सुविधाएं प्रदान करते हुए ग्रामीण अर्थव्यवस्था को सुदृढ़ करना है। किसानों की आय में वृद्धि के उद्देश्य से दूध खरीद मूल्य में छह रुपये की बढ़ोतरी की गयी है। इसके अतिरिक्त, उपोष्ण कटिबंधीय बागवानी, सिंचाई एवं मूल्यवर्द्धित परियोजना (शिवा) के प्रथम चरण में एचपी शिवा परियोजना के तहत 1292 करोड़ रुपये का निवेश किया जा रहा है, जिसमें लगभग 400 शंकुल के माध्यम से 6 हजार हेक्टेयर क्षेत्र में फलदार पौधे लगाए जाएंगे। इस पहल से लगभग 15 हजार किसानों को लाभ होगा। इसमें सौर बाड़ लगाने और सिंचाई सुविधाओं का प्रावधान भी किया गया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि इस पहाड़ी राज्य को प्रकृति ने अपार सुंदरता से नवाजा है। यहां की मनोहारी वादियों में पर्यटकों का स्वागत करने तथा अनछुए पर्यटक स्थलों तक उन्हें बेहतर बुनियादी ढांचागत और विश्व स्तरीय सुविधाएं प्रदान करने पर विशेष बल दिया जा रहा है। राज्य सरकार ने कांगड़ा जिले के रक्कड़ और पालमपुर, किन्नौर जिले के रिकांगपिओ और चंबा में हेलीपोर्ट निर्माण के लिए 13 करोड़ रुपये आवंटित किये हैं।
मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर विकासात्मक योजनाओं पर आधारित विभागीय प्रदर्शनी का अवलोकन भी किया। उन्होंने कार्यक्रम में उपस्थित लोगों को राष्ट्रीय मतदाता दिवस की शपथ भी दिलाई और नए मतदाताओं में आशी ठाकुर, स्नेहा और पलक ठाकुर को मतदाता फोटो पहचान पत्र प्रदान किए।
मुख्यमंत्री ने समारोह के दौरान ‘विपाशा पत्रिका’ के विशेषांक का भी विमोचन किया।
इस अवसर पर विभिन्न सांस्कृतिक दलों द्वारा रंगारंग कार्यक्रम प्रस्तुत किए गए। मुख्यमंत्री ने सांस्कृतिक कार्यक्रमों के प्रतिभागियों की सराहना की और पुरस्कार भी वितरित किये। उन्होंने गत वर्ष आपदा के दौरान बहुमूल्य मानव जीवन की रक्षा करते हुए वीरतापूर्ण बलिदान देने के लिए दिवंगत प्रभास राणा की धर्मपत्नी अनीता राणा को भी सम्मानित किया।
मुख्यमंत्री को इस अवसर पर धर्मपुर कांग्रेस की ओर से 2.15 लाख रुपये तथा डीएवी स्कूल ग्रेयोह जिला मंडी की ओर से 4.01 लाख रुपये के चेक मुख्यमंत्री आपदा राहत कोष-2023 के लिए दिए गए।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री की धर्मपत्नी कमलेश ठाकुर, आयुष, खेल एवं युवा सेवाएं मंत्री यादविंद्र गोमा, विधायक चन्द्रशेखर और सुरेश कुमार, मुख्यमंत्री के राजनीतिक सलाहकार सुनील शर्मा, पूर्व मंत्री रंगीला राम राव, मंडी जिला कांग्रेस अध्यक्ष और पूर्व मंत्री प्रकाश चौधरी, कांगड़ा सहकारी प्राथमिक कृषि एवं ग्रामीण विकास बैंक के अध्यक्ष राम चंद्र पठानिया, कांग्रेस सेवा दल के प्रमुख अनुराग शर्मा, एपीएमसी मंडी के अध्यक्ष संजीव गुलेरिया, कांग्रेस नेता पवन ठाकुर, विजय पाल सिंह, जीवन ठाकुर, चंपा ठाकुर, चेत राम ठाकुर, मुख्य सचिव प्रबोध सक्सेना, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव भरत खेड़ा, पुलिस महानिदेशक संजय कुंडू, उपायुक्त अरिंदम चौधरी, पुलिस अधीक्षक सौम्या सांबशिवन और अन्य गणमान्य उपस्थित थे।
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